कोई है क्या एसा जिसके कंधे पर सर रखकर रो सके।
अब वो तो हे नहीं जिसके गोदी मे सर रखकर रो सके।
खुदा ने छिन लिया है वो आँचल जिसे लगकर रो सके।
कोई है क्या एसा जिसके कंधे पर सर रखकर रो सके।।
हमे तो ये भी याद नहीं कि हमे पल्लू मे छुपकर रो सके।
अब तो ये भी नहीं हो सकता कि कहीं छुपकर रो सके। #Light#ज़िन्दगी
हर बार कह देते हो चले जाओ मेरी नजरो से
खुदा ना करे ढूंढना पड़े पर्दे हटा कर कब्रों से
एसी नौबत लाएंगे हर कब्र को देखोगे नहरों से
Parth kapadiya Mintu Abdullah Qureshi Rakesh Srivastava Yuvraj Prajapati Fiza Ansari