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dhruv6728372256142
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Dhruv

Bhagalpur

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Dhruv

मेरा आलोचना करने वाला ही मेरी पुंजी है

©Dhruv
  # ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #विचार

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Dhruv

हर सवाल मुझसे जवाब मांग रहा है 
तूने क्या क्या किया हिसाब मांग रहा है
अपनी आना को गिरवी नहीं रखा हमने
छत से टपकती बुंदे हिसाब मांग रहा है
ये आएना मैं जो भी हूं तुम्हारे सामने हूं 
मैं वह अखबार नहीं जो बिक कर छप रहा है

©Dhruv
  # ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #कविता

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Dhruv

अपनी परछाई से भी अपनी कमजोरियां छुपा कर रखना 
ना जाने कब कोई अपना दुश्मनों की पहली सफ़ में मिल जायेगा

©Dhruv
  # ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #कविता

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Dhruv

मुझे दर्द नहीं होता है साहब 
लेकिन दर्द तब होता है जब कोई अपना विभीषण निकल जाता है

©Dhruv
  # ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #कविता

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Dhruv

.तुझे जानने की कोशिश में हूं
 मेरी कहानी में क्या है किरदार तुम्हारा ,
पहचानने की कोशिश में हूं
 मैं जानता हूं तू भूल गई है मुझे
 मैं भी तुझे भूल जाने की कोशिश में हूं
एक चेहरा में बहुत चेहरे लिए फिरते हैं लोग यहां 
मेरे सामने कौन चेहरा आया , 
यह पहचानने की कोशिश में हूं
बहुत लोग खड़ा रहते हैं मेरे साथ 
इस बहम में हूं 
इस बहम से कैसे बाहर आउॅ 
यह जानने की कोशिश में हूं

©Dhruv
  # ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #कविता

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Dhruv

अपनी आदत से लाचार हूं 
वो मुझे बहुत करती है  इग्नोर
फिर भी उसके प्यार में बीमार हूं

©Dhruv
  #ध्रव के फूल
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Dhruv

मैं चाहता तेरा नाम लेकर तूझे बदनाम कर देता
मगर तेरा नाम छुपा कर तूझे गुमनाम कर दिया

©Dhruv
  # ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #कविता

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Dhruv

तुम्हारा शहर आया हूं 
भूला भटका एक बार फिर आया हूं
मोहब्बत है जिंदा अभी तक 
शायद इसलिए खींचा आया हूं
हर गाड़ी मिस कर रहा हूं 
क्योंकि तुझे मिस कर रहा हूं

©Dhruv
  #ध्रव के फूल
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Dhruv

# ध्रुव के फूल

# ध्रुव के फूल #कविता

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Dhruv

मुझे दिल से भी निकाला गया 
जो कुछ बचा शहर से भी निकाला गया
अब मैं कहां जाऊं अपने शहर से 
अब तो उसका आशियाना भी
 मेरे शहर में बनाया गया

©Dhruv
  #ध्रव के फूल
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