Nojoto: Largest Storytelling Platform
akanksha8392
  • 213Stories
  • 6Followers
  • 0Love
    0Views

Akanksha

  • Popular
  • Latest
  • Video
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

ख़्वाहिशों की टोकरी लिए उड़ रहे हैं जिस आसमान में आज ,
पाकर सबकुछ कूद जाएँगे कहीं बंगाल की खाड़ी में एक दिन ।

0 Love

3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

"लोग अच्छे दिखते हैं,
जब नहीं दिखते हैं ।" #yqbaba 
#yqdidi
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

"काट दी जाती हैं
कुछ टहनियाँ ,
आगे आ जाने पर
सुंदर मकानों के ,
ठीक वैसे ही 
काटा जाता जैसे ,
पँख पुरुषों द्वारा
स्त्रियों के लग जाने से ।" #Happy_Environment_Day🌿
#yqbaba 
#yqdidi

Happy_Environment_Day🌿 #yqbaba #yqdidi

0 Love

3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

तेरे हिस्से मेरी कितनी बातें आती हैं ,
मेरे हिस्से की रातें तो काटी जाती हैं । #yqbaba 
#yqdidi
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

तुझे सदियों से मेरी सौग़ात समझ न आई ,
चल छोड़ मुझे तो कोई रात समझ न आई । #yqbaba 
#yqdidi 
Pic courtesy -google

#yqbaba #yqdidi Pic courtesy -google

0 Love

3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

           "शीर्षक- माँ"

ममता में अनंत आँसू बहाने वाली
दर्द में आँखों को सूखा रखती है ,
अपने हिस्से का भी बाँटकर हमें
माँ अक्सर खुदको भूखा रखती है ।

कैसे बचा लेती है बुरी नज़रों से भी
मुझे तो हर दिन तू फ़रिश्ता लगती है ,
जाने अनजाने भूल जाते हैं हम तुझे
फिर भी हम मूर्खों से रिश्ता रखती है ।

हमारी ज़िद पर सब  लुटाने वाली
अपनी खुशियों का गला घोंटती है ,
जो थी कभी बिल्कुल  हम जैसी
अब सपनों को चूल्हे में झोंकती है ।

हम आंकते थे कम बचपन में जो
अब जाना कितने करिश्में करती है ,
उठ ऊपर उसे नीचा दिखाते हैं जो
माँ  न कभी कोई शिकवे रखती है ।

चिंता में हमारी विचलित हो जाती
हर उम्र संग माँ बन खुदा चलती है ,
नहीं जरूरत किसी ईश्वर भक्ति की
जिस घर माओं की दुआ लगती है । #maa #mothersday  #happymothersday   
#yqbaba #yqdidi 
YourQuote Didi
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

शर्म ख़ता गर माफ भी हों
खुदमें बीमारी लगती हैं ,
हवा से भी हल्की पलकें
पर्वत सी भारी लगती हैं ।

कहने वाले खुदको ठीक
नज़र उठाए फिरते हैं ,
हमको तो अपनी सांसें
खुदसे गद्दारी लगती हैं । #yqbaba
#yqdidi
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

मैं उदास लोगों से बैर रखती हूँ,
मुझे मैं ही क्यों इतना खलती हूँ। #YQbaba
#YQdidi
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

चाँद को भी जाने ठुकराया किस-किसने ,
इक चेहरे पर गौर फ़रमाया जिस-जिसने। #YQbaba
#YQdidi
3cf73910690704fd62a0cb3461c7e607

Akanksha

     "एक अधूरी कल्पना"

(FULL POEM IS IN CAPTION) मैं नहीं लिख सकती नज़्म कोई
और न ही कोई गज़ल तुम्हारी तरह ,
पर मैं लिख सकती हूँ तुम्हारे बारे में ,
तुम्हारे बालों के घुमाव से लेकर
तुम्हारे पैरों पर खूबसूरती से
उभरती हुई रगों के बारे में ,
मैं लिख सकती हूँ तुम्हारे होठों पर
लगी हुई सिगरेट से निकल

मैं नहीं लिख सकती नज़्म कोई और न ही कोई गज़ल तुम्हारी तरह , पर मैं लिख सकती हूँ तुम्हारे बारे में , तुम्हारे बालों के घुमाव से लेकर तुम्हारे पैरों पर खूबसूरती से उभरती हुई रगों के बारे में , मैं लिख सकती हूँ तुम्हारे होठों पर लगी हुई सिगरेट से निकल #yqbaba #yqdidi

0 Love

loader
Home
Explore
Events
Notification
Profile