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shubhmohansuman1002
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shubh Mohan suman

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shubh Mohan suman

अजब सी एक आस में हैं
बस मौके की तलाश में हैं,

जिनसे चाहा था सदा फांसले रहें
वही दीवार-ओ-दर के पास में हैं.

©shubh Mohan suman #samandar

15 Love

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shubh Mohan suman

अजब सी एक आस में हैं
बस मौके की तलाश में हैं,

जिनसे चाहा था सदा फांसले रहें
वही दीवार-ओ-दर के पास में हैं.

©shubh Mohan suman
  "अजब सी एक आस में हैं
बस मौके की तलाश में हैं,

जिनसे चाहा था सदा फांसले रहें
वही दीवार-ओ-दर के पास में हैं."

-शुभ मोहन सुमन.

"अजब सी एक आस में हैं बस मौके की तलाश में हैं, जिनसे चाहा था सदा फांसले रहें वही दीवार-ओ-दर के पास में हैं." -शुभ मोहन सुमन. #Shayari

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shubh Mohan suman

दिल को सुकून, नज़र को ख़ैर सा लगता है,
तेरा चेहरा खुदाया किसी दैर सा लगता है,

ख़ामोशी लगती है कुछ कुछ अपनी सी,
ये शोर बड़ा हमको गैर सा लगता है.

©shubh Mohan suman
  "दिल को सुकून, नज़र को ख़ैर सा लगता है,
तेरा चेहरा खुदाया किसी दैर सा लगता है,

ख़ामोशी लगती है कुछ कुछ अपनी सी,
ये शोर बड़ा हमको गैर सा लगता है."

-शुभ मोहन सुमन.

"दिल को सुकून, नज़र को ख़ैर सा लगता है, तेरा चेहरा खुदाया किसी दैर सा लगता है, ख़ामोशी लगती है कुछ कुछ अपनी सी, ये शोर बड़ा हमको गैर सा लगता है." -शुभ मोहन सुमन. #Shayari

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shubh Mohan suman

महबूब के बाप की डिमांड होती है
बस एक सरकारी नौकरी,

जिससे तमाम मुश्किलें आसान होती है
बस एक सरकारी नौकरी.

©shubh Mohan suman "महबूब के बाप की डिमांड होती है
बस एक सरकारी नौकरी,

जिससे तमाम मुश्किलें आसान होती है
बस एक सरकारी नौकरी."

-शुभ मोहन सुमन

"महबूब के बाप की डिमांड होती है बस एक सरकारी नौकरी, जिससे तमाम मुश्किलें आसान होती है बस एक सरकारी नौकरी." -शुभ मोहन सुमन #Shayari

8 Love

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shubh Mohan suman

मैं जिस गम को भुलाना चाहता हूं
वो रह रह के याद आता है,

तुम चाहती हो कुछ बुरा न हो
कुछ अच्छा कहां हो पाता है?

©shubh Mohan suman "मैं जिस गम को भुलाना चाहता हूं
वो रह रह के याद आता है,
तुम चाहती हो कुछ बुरा न हो
कुछ अच्छा कहां हो पाता है?"

#LostInSky

"मैं जिस गम को भुलाना चाहता हूं वो रह रह के याद आता है, तुम चाहती हो कुछ बुरा न हो कुछ अच्छा कहां हो पाता है?" #LostInSky

12 Love

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shubh Mohan suman

अपरचिति से पूछा जाने वाला
सबसे पहला सवाल..
"आपका नाम क्या है?"

और

दूसरा सवाल..
"आपका पूरा नाम क्या है?"

ये दोनों जुड़वा से दिखने वाले
सवालों में
एक खाई का अंतर है

©shubh Mohan suman "अपरचिति से पूछा जाने वाला
सबसे पहला सवाल..
"आपका नाम क्या है?"

और

दूसरा सवाल..
"आपका पूरा नाम क्या है?"

"अपरचिति से पूछा जाने वाला सबसे पहला सवाल.. "आपका नाम क्या है?" और दूसरा सवाल.. "आपका पूरा नाम क्या है?" #Shayari #ZeroDiscrimination

9 Love

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shubh Mohan suman

तुम मेरे हिस्से का वक्त
कहीं और खर्च कर आयी हो,

मैं तुम्हारे हिस्से का वक्त
अभी तौल कर बैठा हूं.

©shubh Mohan suman "तुम मेरे हिस्से का वक्त
कहीं और खर्च कर आयी हो,

मैं तुम्हारे हिस्से का वक्त
अभी तौल कर बैठा हूं."

-शुभ मोहन सुमन.

"तुम मेरे हिस्से का वक्त कहीं और खर्च कर आयी हो, मैं तुम्हारे हिस्से का वक्त अभी तौल कर बैठा हूं." -शुभ मोहन सुमन. #Shayari

11 Love

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shubh Mohan suman

बिन साजन बेस्वादी रतियां 
बिन साजन अलख श्रंगार,
बिन साजन मोरी भीगी अंखियां 
बिन साजन बदन अंगार.

©shubh Mohan suman "बिन साजन बेस्वादी रतियां 
बिन साजन अलख श्रंगार,
बिन साजन मोरी भीगी अंखियां 
बिन साजन बदन अंगार."

#delusion

"बिन साजन बेस्वादी रतियां बिन साजन अलख श्रंगार, बिन साजन मोरी भीगी अंखियां बिन साजन बदन अंगार." #delusion #Poetry

8 Love

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shubh Mohan suman

मुझे हारने का जब तुम्हें हौंसला हो जाए,
मुझे जीतने की तब तुम आरज़ू रखना.

©shubh Mohan suman #dilemma

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shubh Mohan suman

हे कृष्ण मुरारी
हे गिरधर धारी
कब अपने दरस कराओगे?
हमें कब बिरज बुलाओगे?
हमें कब बिरज बुलाओगे?

©shubh Mohan suman "हे कृष्ण मुरारी
हे गिरधर धारी
कब अपने दरस कराओगे?
हमें कब बिरज बुलाओगे?
हमें कब बिरज बुलाओगे?"

- शुभ मोहन सुमन.

"हे कृष्ण मुरारी हे गिरधर धारी कब अपने दरस कराओगे? हमें कब बिरज बुलाओगे? हमें कब बिरज बुलाओगे?" - शुभ मोहन सुमन. #Poetry #janmaashtami

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