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hardaykrandan4962
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सरिता पन्थी

करुण पुकार करता रहा ह्रदय मेरा बारम्बार गहन वेदना में डूबा और उतरा लेकर दर्द हजार

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सरिता पन्थी

काँटों से जिन फूलों की हिफाज़त की थी
आज उन्ही फूलों को चुभते हैं हम

अगर यही ज़िन्दगी है तो ग़लत ज़िन्दगी है

©सरिता पन्थी
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सरिता पन्थी

वो, फिर कभी नही आई

#calm

वो, फिर कभी नही आई #calm #बात

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सरिता पन्थी

कुँए की रस्सी
किस्मत ने जोड़ दिया था मुझे 
कठोर ह्रदय पत्थर के साथ 
मैं एक मामूली सी रस्सी 
क्या ही तो थी औकात मेरी 

दंभ में चूर वो देता रहा चोट मुझे 
नियति बन गयी मेरी चोट सहना 
निरंतर चलती रही मैं अपने पथ पर
कर्म को ही जीवन मानकर 

मौन रहकर भी मैंने 
दिखा दिया विद्रोह अपना  
रंग लायी एक दिन मेहनत मेरी 
और सफल हो गयी मै
पत्थर पर अपनी छाप छोड़ने में
मैं एक मामूली सी रस्सी..!! #BoneFire
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सरिता पन्थी

#krishna_flute
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सरिता पन्थी

वक़्त के साथ सब बदलता है
रोज़ अपना ही साया छलता है

और कब तक सम्हाल के रक्खूँ
आजकल दिल बड़ा मचलता है

सरिता पन्थी

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सरिता पन्थी

तुम्ही बताओ लोग कहाँ अब, बाहर जाने पाते हैं 
सोते हैं फिर उठते हैं फिर, उठकर फिर सो जाते हैं 

टीवी और मोबाइल दोनों, साथ साथ रखते खोले 
बीवी बोले काम कोई तो, बन जाते बिलकुल भोले 
फोन की हर घंटी पर आँखें, नज़र रहे हर मैसेज पर
पास में बीवी बैठी हो तो, फोन से भी घबराते हैं 
तुम्ही बताओ लोग कहाँ अब, बाहर जाने पाते हैं 

बातों के ये जाल बिछायें, इक नंबर के ये झूठे 
घर को अपने देखें ऐसे, जैसे जंगल से छूटे
इस कमरे से उस कमरे तक, कितना सफर करें दिनभर 
चार लगाकर चक्कर अंदर, फिर अंदर रह जाते हैं 
तुम्ही बताओ लोग कहाँ अब, बाहर जाने पाते हैं 

गुटखा, पान, तम्बाकू को तड़पे हैं भीतर ही भीतर 
गुजर रहे हैं दिन अब इनके, ठंडे पानी को पीकर 
खाना सोना, खाना सोना, काम बचे हैं अब दो ही 
चाय पकौड़े प्लेट सजा दो, खुश होकर बतियाते हैं 
तुम्ही बताओ लोग कहाँ अब, बाहर जाने पाते हैं #shootingstars
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सरिता पन्थी

#नमाज़ी#खुदा#फ़िदा
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सरिता पन्थी

कभी कोई किसी के दिल से ऐसे खेल ना खेले
ज़रा सी मुस्कुराहट दे के जीने की वज़ह ले ले

सरिता पन्थी
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सरिता पन्थी

मुँह फेर लेते हैं वो हमसे नज़रें मिलाने के बाद
बहुत याद आते हैं वो चले जाने के बाद
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सरिता पन्थी

याद मेरी जब आएगी 
तो कैसे मुझे बुलाओगे

आँखोँ में छुप जाओगे  
क्या सारी रात सताओगे

या धीरे धीरे ठकठक कर 
तुम द्वार मेरा खटकाओगे

भूल के गर सब सो जाऊँ 
क्या ख़्वाब में मेरे आओगे

कॉल करोगे तुम मुझको 
या मैसेज से बहलाओगे

छोड़ के अपने काम सभी 
क्या मुझसे मिलने आओगे

याद मेरी जब आएगी 
तो कैसे मुझे बुलाओगे
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