Find the Latest Status about काली डोरिया from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, काली डोरिया.
Ranju Singh
जान न सके दूरियां क्यों थी न कभी जान सके दूरियां क्यों थी ज़ुबान पर थे लफ्ज़ फिर मजबूरियाँ क्यों थी दिलों की बातें अगर हक़ीक़त होती है हमारे दरमियाँ वो खामोशियाँ न होती बुने थे हमने भी कुछ रेशमी धागों से ख्वाब मगर हमारे हाथों में काली डोरियां क्यों थी...R@s जान न सके दूरियां क्यों थी न कभी जान सके दूरियां क्यों थी ज़ुबान पर थे लफ्ज़ फिर मजबूरियाँ क्यों थी दिलों की बातें अगर हक़ीक़त होती है हमारे
Suchita Pandey
दूर लें जाएंगी हमको ज़िद ये हमारी, न कभी जान सके दूरियां क्यों थी , ज़ुबान पर थे लफ्ज़ फिर मजबूरियाँ क्यों थी। दिलों की बातें अगर हक़ीक़त होती हैं तो , हमारे दरमियाँ वो खामोशियाँ क्यों थी। बुने थे हमने भी कुछ रेशमी धागों से ख्वाब , मगर हमारे हाथों में काली डोरियां क्यों थी। #सुचिता दूर ले जाएगी हमको ज़िद हमारी...#सुचिता #दूरलेजाएगी #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi #suchitapandey दूर
Ranju Singh
जान न सके दूरियां क्यों थी न कभी जान सके दूरियां क्यों थी ज़ुबान पर थे लफ्ज़ फिर मजबूरियाँ क्यों थी दिलों की बातें अगर हक़ीक़त होती है हमारे दरमियाँ वो खामोशियाँ न होती बुने थे हमने भी कुछ रेशमी धागों से ख्वाब मगर हमारे हाथों में काली डोरियां क्यों थी....R@s जान न सके दूरियां क्यों थी न कभी जान सके दूरियां क्यों थी ज़ुबान पर थे लफ्ज़ फिर मजबूरियाँ क्यों थी दिलों की बातें अगर हक़ीक़त होती है हमारे
कपिल की कविताएं।
मेरी सब दौलतो की तिजोरियाँ तेरे नियंत्रण में है मेरी सब खुबियाँ और कमजोरियाँ तेरे नियंत्रण में हैं जरा शिद्दत से संभालो और खींचो मुहब्बत से मेरे मन की सब डोरिया तेरे नियंत्रण में हैंं। कवि कपिल मेरे मन की डोरिया।
Mk Bihari
मनमोहक,सुस्ज्जित रुप हरि भरी है रंगोली प्राकृतिक और कृत्रिम दृष्य एक कमी से भए यहाँ पे सभी के सभी काले-काले। बताओ वह किस चिज कि कमी है? उत्तर उ से है बताओ ©Mk Bihari #काली-काली #Night
Kavi Abhishek Rajvanshi
है तू सबसे भोली भाली तेरी बात है निराली! पागल बनायें मुझको तेरी जुल्फें काली काली!! अपना बना लूँ तुझको दिल में बसा लूँ तुझको! तेरे लिए ही हमदम मेरा दिल है खाली खाली!! ~अभिषेक राजवंशी (कवि) #जुल्फ़ें काली काली! 😍😘
Parasram Arora
टिम टिमाते तारो की. ओकात दो टके की रह जाती हैँ जब चाँद अपने घर से शृंगार करके सैरगाह को गगन क़े पटल पर आ धमकता हैँ.... किन्तु उसकी रौनक को भी चाट जाती हैँ ये छोटी छोटी काली काली बदलिया दीमक की तरह जो भरी हैँ बोझिल हैँ बौछारों क़े भार से पर चाह कर भी बरस नहीं पाती हैँ छोटी छोटी काली काली बदलिया
Ravidutt mohta storyteller
कोई तो रहता है जरूर ताबिजे-रूह में वरना रात इतनी काली क्यों होती है ©Ravidutt mohta काली रात काली बात #findyourself