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SumitGaurav2005
यहीं हमारे देश की, हमारे समाज की कड़वी सच्चाई है... कुछ महिलाएं अब अपने अधिकारों का दुरुपयोग करने लगी है, जो यातनाएं पहले उन्हें मिलती थी अब वह पुरुष को देने लगी है! 💔💔💔✍🏻सुमित मानधना 'गौरव'💔💔💔💔 ©SumitGaurav2005 यहीं हमारे देश की, हमारे समाज की कड़वी सच्चाई है... कुछ महिलाएं अब अपने अधिकारों का दुरुपयोग करने लगी है, जो यातनाएं पहले उन्हें मिलती थी
यहीं हमारे देश की, हमारे समाज की कड़वी सच्चाई है... कुछ महिलाएं अब अपने अधिकारों का दुरुपयोग करने लगी है, जो यातनाएं पहले उन्हें मिलती थी
read moreAshraf Fani
Unsplash उमर ढलने लगी चेहरे की रौनक़ बदलने लगी रंग-ओ-रौग़न गया झुर्रियां सारी चेहरे पे दिखने लगीं ©Ashraf Fani उमर ढलने लगी चेहरे की रौनक बदलने लगी रंग-ओ-रौग़न गया झुर्रियां सारी चेहरे पे दिखने लगीं #ashraffani #leafbook life quotes in hindi life quo
उमर ढलने लगी चेहरे की रौनक बदलने लगी रंग-ओ-रौग़न गया झुर्रियां सारी चेहरे पे दिखने लगीं #ashraffani #leafbook life quotes in hindi life quo
read moreMayuri Bhosale
❣️.......शायरी दिल की कहानी .......❣️ हर दिल मे छूपी है एक कहानी💌 पहले हमे लगती है ओ अपनी सहेली 👭 पर दिल के गहराई के समंदर तक जाकर 🌊🌊 देख लो ओ बन जाती है एक नई पहेली.....!!❓ ©Mayuri Bhosale दिल की कहानी की
दिल की कहानी की
read moreHarshita Dawar
इस खेल में खलल लगी, इस काजल की लकीर को काली स्याही लगाने की बात कही..क्या?.क्या नहीं कहा, इस लिए ये तुम्हारे लिए नहीं.. हमारे स्वाभिमान की न
read moreबेजुबान शायर shivkumar
White तेरे ओतर् मे ©बेजुबान शायर shivkumar प्यार में तेरे बनने लगी हु गिरने लगी हु संभलने लगी हु तुझे पाना क्या खुद को खोना है चाहत में तेरी मैं दुनिया भुलाने लगीं हूं ऐ जाना बता
प्यार में तेरे बनने लगी हु गिरने लगी हु संभलने लगी हु तुझे पाना क्या खुद को खोना है चाहत में तेरी मैं दुनिया भुलाने लगीं हूं ऐ जाना बता
read moreAnuradha T Gautam 6280
#खिड़की खिड़की पर बैठे-बैठे शाम भी उतरने लगती और रातें भी बीत जाती पर सब्र की आंख अपने इंतजार में लगी रहती..🖊️
read morePraveen Jain "पल्लव"
White पल्लव की डायरी दिन के भी उजाले, कम है तरक्की के लिये नींद और चैन अपने गवाते गवाते रातो को भी बाजार रोशन होने लगे है जरूरतों जो कभी कम ना हुयी जीवन रोज खपाते खपाते दौड़ और होड़ की लगी है बाजी मौत के आगोश में जाते जाते प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #good_night दौड़ और होड़ की लगी है बाजी
#good_night दौड़ और होड़ की लगी है बाजी
read moreसंस्कृत लेखिका तरुणा शर्मा तरु
भाषा शैली स्वलिखित हिन्दी रचना संस्कृत अनुवाद सहित, . . शीर्षक लगी प्रीत .
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