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iamsunil
White तेरे इश्क़ में यूं ही खोए रहते हैं तेरी यादों में हर पल गुम होए रहते हैं कल तक तो थे हम अजनबी अब तुझसे ही मुकम्मल होए रहते हैं तेरे इश्क़ में यूं ही खोए रहते हैं तेरी यादों में हर पल... ©iamsunil #Sad_shayri Sonia Anand Munni Sircastic Saurabh anand_08 विनय
#Sad_shayri Sonia Anand Munni Sircastic Saurabh anand_08 विनय #Poetry
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हर लम्हा देख रहा हूँ साथ तेरे खूबसूरत पल, मेरा हाथ थाम लो खूबसूरत होना है कल, तुम्हें देखू हर पल ये दुआ है मेरी तू चांद है या चांद चाँदनी है तेरी - 2 ©iamsunil #WoSadak Sircastic Saurabh anand_08 विनय Munni sachingrover22
MAHENDRA SINGH PRAKHAR
उडियाना छन्द :- स्वाद में सब जन बहे , जीव हत्या करें । और देते ज्ञान हैं , पाप क्यों सिर धरे ।। जानते है सब यहीं , पाप है ये बड़ा । देखता हूँ फिर वहाँ , घेरकर सब खड़ा ।। मारकर सब डुबकियां , पाप धोने चले । मातु गंगा सोचती , तनय कैसे पले ।। पीर इनकी सब मिटे, और आगे बढ़े । राह जीवन की सभी , स्वयं चलकर गढ़े ।। कष्ट सारे झेलकर , चक्षु जिनके खुले । राम-सिय जपते रहे , श्वास जब तक चले ।। लौट जायें वो सभी, सुगम पथ पर कहीं । विनय करता यह प्रखर , आप ठहरे वहीं ।। महेन्द्र सिंह प्रखर ©MAHENDRA SINGH PRAKHAR उडियाना छन्द :- स्वाद में सब जन बहे , जीव हत्या करें । और देते ज्ञान हैं , पाप क्यों सिर धरे ।। जानते है सब यहीं , पाप है ये बड़ा । देखता ह
उडियाना छन्द :- स्वाद में सब जन बहे , जीव हत्या करें । और देते ज्ञान हैं , पाप क्यों सिर धरे ।। जानते है सब यहीं , पाप है ये बड़ा । देखता ह #कविता
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White दुनिया में ग़म बेहिसाब मिले बेजान से कितने ख्वाब मिले रहने दो वो थे नही हमारे मगर खाने को ठोकर बेहिसाब मिले गर मिला भी बहारों का चमन तो काँटों से लिपटे गुलाब मिले रोज़ धड़कती हुई दास्तान मिली जहाँ मिले दिल-ए-बेताब मिले सहते हुए इक ज़माना गुज़ारा जो हमसफ़र मिले बेवफा मिले विनय पंवार 🎻🎸 ©vinay panwar . ๑;ु ,(-_-), '\'''''.\'='-. \/..\\,' //"") (\ ! \ |, 🙏🏻 जय श्री कृष्ण
. ๑;ु ,(-_-), '\'''''.\'='-. \/..\\,' //"") (\ ! \ |, 🙏🏻 जय श्री कृष्ण #Quotes
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जय श्री राधे कृष्णा🙏 ©vinay panwar माँ के लिये क्या लिखूं मै माँ की ही तो लिखावट हूँ मैं देखा जब भी करीब से तुझे तेरी बातें याद आयी मेरे हर एक कदमों के निशां पे सिर्फ त
माँ के लिये क्या लिखूं मै माँ की ही तो लिखावट हूँ मैं देखा जब भी करीब से तुझे तेरी बातें याद आयी मेरे हर एक कदमों के निशां पे सिर्फ त #Love
read moreshamawritesBebaak_शमीम अख्तर
White जो मेरे साथ में बुगज रखे हुए सोगवार हो, लानत हो ऐसो पर और बेशुमार हो//१ अदु अब चाले ना चल,ये ना हो कहीं तू खुद से ही फंस कर मुझसे ता उम्र शर्मसार हो//२ मैं शिरीन हूं,तु मुझे दिल में रखता क्यूं नही,तू तुर्श है तो फिर मेरे इस दिल से तेरा उतार हो//३ तेरे दीदार को ये चश्म बहुत तमन्नाई है,कहीं ये ना हो तु आ गया हो और फिर भी इंतजार हो//४ खामख्वाह क्यूं करे अब ऐसे अपनों से इसरार,के "शमा" को नहीं हाजत ऐसो की जो बस दिखावे से सोगवार हो//५ #shamawritesBebaak ©shamawritesBebaak_शमीम अख्तर #Couple जो मेरे साथ में *बुगज रखे हुए सोगवार हो,लानत हो ऐसो पर और बेशुमार हो//१ *ईर्ष्या*शोकाकुल *अदु अब चाले ना चल,ये ना हो कहीं तू खुद से
#Couple जो मेरे साथ में *बुगज रखे हुए सोगवार हो,लानत हो ऐसो पर और बेशुमार हो//१ *ईर्ष्या*शोकाकुल *अदु अब चाले ना चल,ये ना हो कहीं तू खुद से #shamawritesBebaak
read moreRavendra
जिला अधिकारी बहराइच ने दिव्यांग मतदाताओं के लिए निकाली मतदाता जागरूकता रैली बहराइच में लोक सभा सामान्य निर्वाचन-2024 में शत प्रतिशत मतदा #न्यूज़
read moreMAHENDRA SINGH PRAKHAR
Vishnu Bhagwan दोहा :- कर्म रखो बस ध्यान तुम , सोचों मत परिणाम । देने वाला और है , तू कर अपना काम ।। कुण्डलिया:- जाने कैसे कर्म थे , भुगत रहे परिणाम । करता हूँ अरदास अब , मिले मुझे आराम ।। मिले मुझे आराम , कृपा अब रघुवर कीजै । सह जाऊँ मैं पीर , और अब साहस दीजै ।। विनय प्रखर की आज , सुना रघुनंदन माने । स्वप्न दिखाया दास , छोड़ अब हम सब जाने ।। २९/०३/२०२४ - महेन्द्र सिंह प्रखर ©MAHENDRA SINGH PRAKHAR दोहा :- कर्म रखो बस ध्यान तुम , सोचों मत परिणाम । देने वाला और है , तू कर अपना काम ।। कुण्डलिया:- जाने कैसे कर्म थे , भुगत रहे परिणाम । क
दोहा :- कर्म रखो बस ध्यान तुम , सोचों मत परिणाम । देने वाला और है , तू कर अपना काम ।। कुण्डलिया:- जाने कैसे कर्म थे , भुगत रहे परिणाम । क #कविता
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