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vinod baabu ranjan 9918
IBS SHAYARI
Altaf Raza
प्यार तो वोकरा से ऊहे दिन भईल रहे..... जब छोटहन में 26 जनवरी के निकले वाला स्कूल रैली में ऊ चिल्लाके बोल्ले रहली..... गुरुजी देखीना ई लइकवा हाथ पकड़ के न चल रहल बा..... प्यार तो वोकरा से ऊहे दिन भईल रहे..... जब छोटहन में 26 जनवरी के निकले वाला स्कूल रैली में ऊ चिल्लाके बोल्ले रहली..... गुरुजी देखीना ई लइकवा
Kanhaya Prasad Tiwari Rasik
बेलन जइसन यंत्र से , पत्नी जी मुसकाय । पियवा लगे सुहावना , इधर-उधर ना जाय ।। इधर-उधर ना जाय , समय पर घर हीं आवे । विधुवदनी को देख , नजर ना कहीं मिलावे ।। जब भी पड़े कपार , रहे काबू में तन मन । देशी हर्बल अस्त्र , रसोई का है बेलन ।। ~ रसिक ~ #NojotoQuote बेलन जइसन यंत्र से , पत्नी जी मुसकाय । पियवा लगे सुहावना , इधर-उधर ना जाय ।। इधर-उधर ना जाय , समय पर घर हीं आवे । विधुवदनी को देख , नजर ना क
✍ अमितेश निषाद
जबसे तू छोड़ गइल सँवरिया आवेल याद तू ही दिन रतिया बरस बरस नयना हो गइले भादो कवना परदेश बस गइल सँवरिया ना ही रात कटे ना होला बिहान हो तोहरा बिना जियान होता जवनिया कबहूँ न सोचले रहनी हथवा छोड़इब की एहू तरे बसा के प्यार के दुनिया सारा जोगावल सपना माटी कई दिहल बनल बनावल सारा मोहबत के कहनिया एक बात याद रखिह मरला के बाद भी कनवो गीला शिकवा ना रही तोहसे सँवरिया ✍️ अमितेश निषाद (सुमित ) १७/०४/२०१९ #NojotoQuote जबसे तू छोड़ गइल सँवरिया आवेल याद तू ही दिन रतिया बरस बरस नयना हो गइले भादो कवना परदेश बस गइल सँवरिया ना ही रात कटे ना होला बिहान हो तोहरा
Yudi Shah
यहा कर्म मा बिश्वास गरु कि मर्म बाट गुज्रिएको ती भरमा कतिपय कुराहरु जिन्दगीमा न सोचे जस्ता हुन्छन् कहिले किरणको रंग जस्तै त कहिले उडिरहे झै पुतली का पंख जस्तै हुन्छन् हावाले जहाँ जहाँ डुलाइ दियो ताहा-ताहा अफ्नो लक्ष्य परिवर्तन बनाई लियो सायद कसै कसैको त समय र किसमत पनि एकै साथमा चल्छन् र कसै कसैको त भिन्न बिन्दुमा अल्झिएर मिटछ्न यहा दोषी जो पनि हुनसक्छन् आफ्नो अमुल्य समय कि त समयले नचाहेको पनि हुन सक्छन तर प्रयास निरन्तर दिनु पनि आफैमा एउटा ठुलो कुरा हो अगाडि बढनु यसको अर्थ जित नै हासिल हुन्छ जरुरी पनि छैन हारेरपनि हौसला न टुट्न दिनु पनि आफैंमा एउटा ठुलो जित हो... र अन्त्यमा यहि भन्न चाहन्छु कि गत वर्ष भन्दा पनि राम्रो दिन बितोस कहिले भुक्म्पले हानी गर्यो त कहिले मानवीय नकारात्मक सोचले पनि सायद हामी मनुष्य आफ्नो बिनाश तर्फ लागेका छौं र साथै यस पृथ्वीमा रहेका सम्पुर्ण जिवजन्तुहरुको पनि Words ©✍️ ¥ud! $h@h #HappyNew¥ear2078 ©Yudi Shah यहा कर्म मा बिश्वास गरु कि मर्म बाट गुज्रिएको ती भरमा कतिपय कुराहरु जिन्दगीमा न सोचे जस्ता हुन्छन् कहिले किरणको रंग जस्तै त कहिले उडिरहे
Er.Shivampandit
ओक्का बोक्का तीन तलोक्का, फूट गयल बुढ़ऊ क हुक्का। फगुआ कजरी कहाँ हेरायल, अब त गांव क गांव चुड़ूक्का।। ओक्का बोक्का तीन तलोक्का, फूट गयल बुढ़ऊ क हुक्का। फगुआ कजरी कहाँ हेरायल, अब त गांव क गांव चुड़ूक्का।। नया जमाना नयके लोग, नया नया कुल फईलल रो
Priya Kumari Niharika
बद्री पांडे ने राजू चमार से दोस्ती करनी चाही तो राजू ने कहा - हम तुम कितने भिन्न है प्यारे, अलग अलग घर द्वार रे हम दोनों के अलग ही बबुआ, धर्म जात परिवार रे हम रहते झुग्गी बस्ती में, तुम्हरा है दरबार रे तुम पढ़ते कालेज में बबुआ, हम तो भए गवार रे हम तो हंटर खाते प्यारे, तुम्हरा हों सत्कार रे तुम्हरे घर तो भये उजाले, हमरा घर अंधकार रे हम तो पाथर जइसन प्यारे, तुम तो हों सुकुमार रे हम तो खाये रूखी सूखी, तुम छप्पन प्रकार रे तुम ठहरे बाभन के बेटे, हम तो भये चमार रे तुम हों प्यारे प्रेम पिता का, हम तो है धिक्कार रे हम तो साहब दास तुम्हारे, दो आदेश हजार रे पर विनती तुम सुन लो प्यारे, करो न ये उद्धार रे बोझ तले तेरे दब जाएंगे,होके हम लाचार रे देने को इक ढेला न है, बदले में उपहार रे हमरे तुम क्या मित्र बनोगे, हम तो है बेकार रे हम माटी तुम कुंदन प्यारे,करो न तुम उपकार रे तब बद्री पांडे ने क्या कहा सुनियेगा - तुम जो मेरे मित्र बने तो,अंतर ये मिट जाएगा अमर दोस्ती रहे हमारी, गीत जहाँ ये जाएगा फर्क करेगा जो दोनों में, राम कसम पीट जायेगा संग तेरे सूखी रोटी, बाभन का बेटा खायेगा मित्र नहीं घबराना तुम हम तुमको ना ठुकराएंगे स्वार्थ नहीं ये प्रेम है मेरा तुमको गले लगाएंगे मानवता सीखलाने प्यारे, जगत से हम टकराएंगे भेदभाव को इस माटी से, मिलकर हम मिटाएंगे भेदभाव को इस माटी से, मिलकर हम मिटाएंगे ©Priya Kumari Niharika बद्री पांडे ने राजू चमार से दोस्ती करनी चाही तो राजू ने कहा - हम तुम कितने भिन्न है प्यारे, अलग अलग घर द्वार रे हम दोनों के अलग ही बबुआ, धर