Nojoto: Largest Storytelling Platform

New कालरात्रि नवदुर्गा Quotes, Status, Photo, Video

Find the Latest Status about कालरात्रि नवदुर्गा from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, कालरात्रि नवदुर्गा.

    LatestPopularVideo

बेजुबान शायर shivkumar

#navratri #navaratri2024 #navratri2025 #navratri2026 #navaratri #नवरात्रि मां का सप्तम रूप है मां #कालरात्रि का, क्षण में करती #नाश दु #भक्ति #आरती

read more

Sethi Ji

🌺🌺 शुभ नवरात्रि 🌺🌺 माँ दुर्गा का सातवां स्वरूप माँ कालरात्रि हैं मान्यता हैं आज के दिन पूरी श्रद्धा से माँ की पूजा करने से और व्रत रखने

read more

Rameshkumar Mehra Mehra

# मां दुर्गा के सप्तम सबरुप शाकि मां कालरात्रि के चरणो में कोटि-कोटि प्रणाम आप सब को सप्तम नबरात्रि की हादिॅक शुभकामनाएं...जय माता दी..🙏🙏 #Quotes

read more

ishant Thakur

माँ कालरात्रि #navratri #kalratri #Tranding nayan Nîkîtã Guptā NAZAR Nandani patel narendra bhakuni ARTI JI ARTI DEVI(Modern Mira Bai) Aar #भक्ति

read more

Gulab Malakar

#navratri #या देवी सर्वभूतेषु माँ कालरात्रि रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥ #Bhakti

read more
ॐ कालरात्र्यै नम:। 

एकवेणी जपाकर्णपूरा नग्ना खरास्थिता,
 लम्बोष्टी कर्णिकाकर्णी तैलाभ्यक्तशरीरिणी।
या देवी सर्वभूतेषु माँ कालरात्रि रूपेण संस्थिता।
 नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥

©Gulab Malakar #navratri 
#या देवी सर्वभूतेषु माँ कालरात्रि रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥

SANJAY SAHA

#navratri नवदुर्गा #शायरी

read more

MAHENDRA SINGH PRAKHAR

कुण्डलिया :-  नवदुर्गा माता के नव रूप का , दर्शन का सौभाग्य । पाया जो वागीश ये , लिखने बैठा काव्य ।। लिखने बैठा काव्य , जगत जननी की गाथा । #कविता

read more
कुण्डलिया :-  नवदुर्गा

माता के नव रूप का , दर्शन का सौभाग्य ।
पाया जो वागीश ये , लिखने बैठा काव्य ।।
लिखने बैठा काव्य , जगत जननी की गाथा ।
देख शारदे मातु , झुका चरणों में माथा ।।
माँ अम्बें की आज , आरती जन-जन गाता ।
होकर खुश वरदान , दिए भक्तों को माता ।।
१२/०४/२०२४    -   महेन्द्र सिंह प्रखर

©MAHENDRA SINGH PRAKHAR कुण्डलिया :-  नवदुर्गा

माता के नव रूप का , दर्शन का सौभाग्य ।
पाया जो वागीश ये , लिखने बैठा काव्य ।।
लिखने बैठा काव्य , जगत जननी की गाथा ।
loader
Home
Explore
Events
Notification
Profile