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Stories related to संग्रहणी रोग में क्या खाएं

neelu

#Thinking क्या पूरा था ........क्या अधूरा था क्या बचपन पूरा था..... क्या जवानी पुरी थी..... क्या किरदार पुरा था.... क्या कहानी पूरी थी......

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White क्या पूरा था ........क्या अधूरा था
क्या बचपन पूरा था.....
क्या जवानी पुरी थी.....
क्या किरदार पुरा था....
क्या कहानी पूरी थी......

शिव की तो परिक्रमा भी अधूरी है
अब जोश में कहो.. जिंदगी पूरी है

©neelu #Thinking क्या पूरा था ........क्या अधूरा था
क्या बचपन पूरा था.....
क्या जवानी पुरी थी.....
क्या किरदार पुरा था....
क्या कहानी पूरी थी......

Kamal Kant

मोहब्बत में सच्चे हो क्या! #mohabat Love #midnightthoughts #sarcasm #Ladke

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F M POETRY

#न आएगा दुआओं में असर क्या?

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White कभी पूरा न होगा ये सफर क्या?

न आएगा दुआओं में असर क्या?


यूसुफ़ आर खान...

©F M POETRY #न आएगा दुआओं में असर क्या?

Poet Kuldeep Singh Ruhela

#sad_dp #में मोहब्बत का दुश्मन बन जाऊ तो क्या तेरे प्यार में घुट घुट के मर जाऊ तो क्या माना धड़कन में तेरी मेरा दिल नहीं धड़कता पर तुझ

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White #में मोहब्बत का दुश्मन
 बन जाऊ तो क्या
तेरे प्यार में घुट घुट 
के मर जाऊ तो क्या 
माना धड़कन में तेरी
 मेरा दिल नहीं धड़कता  
पर तुझसे अपने दिल की 
बात में बताऊं न क्या !

©Poet Kuldeep Singh Ruhela #sad_dp #में मोहब्बत का दुश्मन
 बन जाऊ तो क्या
तेरे प्यार में घुट घुट 
के मर जाऊ तो क्या 
माना धड़कन में तेरी
 मेरा दिल नहीं धड़कता  
पर तुझ

RAMLALIT NIRALA

पुजा का क्या अर्थ है कौई बतायेगा कौई भी बताये पुरे भारत में

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Rohan Roy

भीड़ में होकर, भीड़ में खो जाना | क्या यही आस्था है | #RohanRoy | #dailymotivation | #motivation_for_life | #rohanroymotivation | in life q

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Unsplash भीड़ में होकर, भीड़ में खो जाना।
या भीड़ में अपने जीवन की बागडोर को समर्पित कर। 
अपनी जान जोखिम में डाल देना।
यह कैसी समझदारी है, यह कैसी शिक्षा है।
जिसे समझने के बाद भी, अभी तक समझ में आई नहीं। 
मानते हैं बात आस्था की है, बात ईश्वर की प्राप्ति की है, बात धर्म की है। 
क्या इस तरीके से ही, आस्था बढ़ेगी। 
क्या इस मार्ग से होकर ही, ईश्वर मिलेंगे। 
क्या इसी पथ से होकर ही, धर्म का नाम ऊंचा होगा। वह पवित्रता हमारे भीतर है, वह धर्म हमारे भीतर है। वह ईश्वर हमारे भीतर है, वह मोक्ष हमारे भीतर है। फिर भीड़ में प्राणों की दांव पेंच खेल कर, 
हम क्या हासिल कर लेते हैं?

©Rohan Roy भीड़ में होकर, भीड़ में खो जाना | क्या यही आस्था है | #RohanRoy | #dailymotivation | #motivation_for_life | #rohanroymotivation |
 in life q

DR. LAVKESH GANDHI

दिल # # दिल का रोग #

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दिल किसका

 एक प्रेमिका के कहने पर जब प्रेमी ने
 अपनी जन्म देने वाली माता का दिल 
कलेजे से बेध कर निकाला 
और अपनी प्रेमिका के पास जा पहुंँचा 
तो प्रेमिका ने अपने प्रेमी को धिक्कारते हुए कहा जा जा...
 जो पुरुष जन्म देने वाली मांँ का नहीं हुआ 
वह अनजान प्रेमिका का क्या होगा...

©DR. LAVKESH GANDHI #दिल #
# दिल का रोग #

Anil sahni

लास्ट में क्या हुआ

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चाँदनी

#रोग

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White जाने कौन सा रोग मेरे कविताओं को लगा है
शब्दों का एक कतरा जिस्म पर गिरते ही
कविताएँ अपने एक अंग को खा जाती है

मै एक कोने मे बैठ कर खूब रोती हूँ
और मेरे कविता के बहते नासूर से 
फिर एक जिस्म तैयार होता है 

हर बार हृदय काग़ज के आर पार
बैठा राहगीरो से दूर अपने जख्म
की तूरपाई मे कागज के सिलवटों
को नोच देता है

दर्द नासूर का नही, जिस्म का
 नही काग़ज का होता

मौत तीनों को कैद करता है
रूह अकेला चित्कारता है

कविताएँ जहर या औषधि ही नही बनती
बाकी तीन खण्डों का मूलभूत अधिकार
जीवन - मरण तक स्थापित कर चुकी होती है

©चाँदनी #रोग

SANIR SINGNORI

जानी को समझाए कोई, एक ही शख़्स था जहां में क्या

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'जानी' को समझाए कोई...          
           एक ही शख़्स था जहां में क्या.. 🥀🥺 





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©SANIR SINGNORI जानी को समझाए कोई,
एक ही शख़्स था जहां में क्या
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