औरत को कितने साजों श्रृंगार के सामानों की जरूरत होती है लेकिन वे अपनी इच्छाएं मारती है कम करती है ताकि आपकी जेब और कंधों का भार उसके त्याग स #Motivational#घरेलूहिंसा#MissionMaanyMaang
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Manya Parmar
तुम खुद को कमज़ोर या बोझ ना समझना, समझी?
वरना औरत को कितने साजों श्रृंगार के सामानों की जरूरत होती है लेकिन बेटियां अपनी इच्छाएं मारती है क #Motivational#घरेलूहिंसा#MissionMaanyMaang