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KAVI VINIT BADSIWAL
कोरोना के कहर से सारा विश्व ये बोल रहा, पर क्यों आम आदमी इसे जज़्बातों में है तोल रहा।। कोरोना का ये कहर आया था वुहान से, महामारी बन उभर रहा है अब हर एक जुबान से।। आधा विश्व इससे मर रहा है, और आधा इससे डर रहा है।। सरकार उठा रही है ठोस कदम, क्यों ना कुछ दिन तक हम घर में रहे हरदम।। बन रहे है देश में कर्फ्यू के हालात, जनता अब भी संभल जाओ दूर रख के जज्बात।। समझना होगा हमें कोरोना का डर, क्योंकि बहुत जानलेवा है इसका तीसरा स्तर।। क्यों ना अपने अपनो को हम सब एक बात कहें, क्यों ना कुछ दिन हम सब घर पर ही रहे।। हम सब सख्ती से कर्फ्यू का पालन करे, एकांत में रहकर कोरोना को भारत से चलता करे।। कवि विनित बड़सीवाल #कोरोना एक महामारी
Pooja Akku ,(Vasundhara Ghaziabad)
#एक महामारी ( कोरोना)# _________________ अचानक हमारे देश में आई एक अजीब बीमारी थी, पूरे देश में फैली मौत की महामारी थी! लोग अचानक मर रहे थे, हवा-पानी,खाना और जीने के लिए तड़प रहे थे!! घर से बे-घर हुए अचानक, मंजर था ये बहुत भयानक! चारों तरफ देहशत का आतंक मचा था, जर्रा-जर्रा धरती का मौत से रचा था! इंशा क्या,कोई जीव अछुता ना इससे बचा था, जवान, बच्चे, बूढ़े सभी का फयूचर दाब पर लगा था! तीन साल अब होने को हैं,,तब जाकर थोड़ा सकूंन मिला हैं! "कोरोना" नाम की इस भयंकर बीमारी से हमे निजात मिला हैं!! आज फिर अचानक से ये खौफ़ छाने लगा हैं, ना जाने कब ये अभिशाप मिटेगा,, पता नही कब पृथ्वी पर फ़िर से जीव- जंतु खुशहाल मिलेगा!! 😟😟😟😟 धन्यबाद -------- ©Pooja Akku #एक महामारी (कोरोना)#
Kavita Ghosh
#MessageOfTheDay पापों का दानव ये महामारी नाश करो पाप विनती हमारी कृपा प्रार्थना करूँ दयामय उद्धारो सबको हे परमेश्वर।। ©Kavita Ghosh # कोरोना महामारी
Ashish Gupta
पहले इंसान अच्छी जिंदगी के लिए गांव छोड़कर शहर जाता था,, आज जिंदगी बचाने के लिए शहर छोड़ कर गांव जा रहा है.. कोरोना महामारी...
Kavi Harshit Paliwal
सकल विश्व में फेल उठी जो कोरोना महामारी है हर कोई घर में दुबका बैठा बेबस है लाचारी है कुछ दिन ओर बचालो जीवन घर की चार दिवारी से कोरोना से लड़ने की अब भारत की तैयारी है पूरा विश्व चकित चिंतित सा कौन राह दिखता है दुनिया आस लगाए बैठी भारत सदा बचाता है छोड़ सभी धर्मो के चक्कर सदाचार अपनाता है पोलियो की दो बून्द पिला कभी बचना हमे सिखाता है सकल विश्व अब भारत माँ को शीश जुकता दिखता है संकट की गड़ियो में बस माँ का आँचल दिखता है जब जब जग में संकट आये जगतगुरु तब हाथ बढ़ाता है हर विश्वविपत्ति भाग जाए जब गुरु कमान उठाता है Kavi Harshit Paliwal कोरोना एक वैश्विक महामारी Kavi Narendra Gurjar