Find the Latest Status about फलसफा नेट सिलेबस from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, फलसफा नेट सिलेबस.
AwadheshPSRathore_7773
White . बची थी जो शेष जिंदगी उसी को विशेष बनाने के चक्कर में कब यह जीवन भूत से वर्तमान,वर्तमान से भविष्य में कहीं खो गया, पता ही नहीं लगा... तुम्हारा कसकर हाथ पकड़ने की चाह में नमी जिंदगी.. कब सूखी रेत सी हो हाथों से फिसल गई पता ही नहीं लगा न मै..मेँ रही,ना तुम.. तुम रहे तुम्हारी जो जिंदगी थी मैँ..कब -कैसे - क्यूं रास्ते का पत्थर बन गई पता ही नहीं लगा...x कांच के टुकड़ों को क्यूँ हीरोँ का नाम दे...देकर यूं ही सहेजते रहे हम जबकि अपना शीशे सा दिल कब पत्थर हो गया पता ही नहीं लगा.. एक मुलाकात के इंतजार में तुम्हारे ख्यालों को कब कस्तूरी..मृग.. मन..से जिंदगी..ऐ..रुह में उतार लिया... पता ही नहीं लगा.... दीवारों को दर्द सुनाते सुनाते तन्हा दिल ने तन्हा-तन्हा सी जिंदगी में कब..तन्हा..शहर बसा लिया पता ही नहीं लगा...पता ही नहीं लगा... ©AwadheshPSRathore_7773 #nightthoughts शेष विशेष के जैसे चक्की के दो पाटों के बीच फंसती यह जिंदगी,किस तरह सादे मनुष्य से उसके जीवन की सारी सादगी छिन लेती है और अंतत
Arora PR
हम नहीं जानते फलसफा. धर्म जिंदगी और जंग का हम तो आज भी हिमायती है दरिंदगी और वहशत का और शायद यही है आदर्श हमारी जिंदगी का ©Arora PR फलसफा
Bhavana kmishra
bench अपनी ज़िंदगी का हमेशा "भावना" यहीं फलसफा रहा.... जो दूर दूर तक नहीं था मेरे, वहीं मेरा नसीब था... जो था करीब मेरे, वो मेरा हो के भी मेरा न था.... ©Bhavana kmishra #bench #Nojoto #Hindi #viarl #bhavanakmishra #अपनी ज़िंदगी का हमेशा भावना यही फलसफा रहा, जो दूर दूर तक नहीं था वहीं मेरा नसीब था,
Rabindra Kumar Ram
" महज़ ये मेरा ख़वाबो-ए-ख्यालों ही हैं, ऐसे में मिलना हमारा हक्किकत समझु मैं क्या, दरमियाँ चाहतों का कौन सा फलसफा हैं, मुलाकातें तो हो रही पर हमारा मिलना नहीं हो रहा . " --- रबिन्द्र राम ©Rabindra Kumar Ram " महज़ ये मेरा ख़वाबो-ए-ख्यालों ही हैं, ऐसे में मिलना हमारा हक्किकत समझु मैं क्या, दरमियाँ चाहतों का कौन सा फलसफा हैं, मुलाकातें तो हो रह
Rabindra Kumar Ram
" ये तेरा जफ्र ही हैं हम बात मुकम्मल क्या, कुछ आध-आधुरी बातों का जायजा लेते तो करते क्या, तुम भी मिले गैरों की तरह हम भी मिले औरौ की तरह , फलसफा जो कुछ भी हो कुछ पयाम अब भी कायम इस फराज़ में. " --- रबिन्द्र राम ©Rabindra Kumar Ram " ये तेरा जफ्र ही हैं हम बात मुकम्मल क्या, कुछ आध-आधुरी बातों का जायजा लेते तो करते क्या, तुम भी मिले गैरों की तरह हम भी मिले औरौ की तरह ,
Shashi Bhushan Mishra
हृदय का चालू नेट करो, मन को अप-टू-डेट करो, रोको मन को मनमानी से, दिल का मामला सेट करो, मोबाइल का हार्डवेयर तन, साफ्टवेयर अपडेट करो, श्वास बैटरी समझो अपना, जबतक जीवन चैट करो, अंतःकरण ही साफ्टवेयर है, मन सद्गुरु को भेंट करो, ज्ञान दीप से घट उजियारा, अवगुण का आखेट करो, दुनिया का आनंद लो 'गुंजन', तनिक नहीं अब लेट करो, ---शशि भूषण मिश्र 'गुंजन' चेन्नई तमिलनाडु ©Shashi Bhushan Mishra #हृदय का चालू नेट करो#
KP EDUCATION HD
KP NEWS HD कंवरपाल प्रजापति समाज ओबीसी for the same for me ©KP EDUCATION HD  1. भारतीय सेना JCO और हविलदार भर्ती 2023 - अंतिम परिणाम जारी भारतीय सेना ने हाल ही में जूनियर कमीशन्ड ऑफिसर (धार्मिक शिक्षक) और हविलदार