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Anuj Subrat
इक होड़ लगी थी सबको आगे जाना था हम वहीं रुक गए शायद मेरा वहीं ठिकाना था मैंने देखा तो देखा क्या इक गुलशन इक ख़ुशबू और इक ये ज़ालिम ज़माना था आधा भी लिख दे कैसे कोई उसको मैंने देखा था जिसको वो यकसर दीवाना था कैसे करते इज़हार-ए-मोहब्बत हम तुमसे नाहीं कोई ठिकाना था नाहीं आब-ओ-दाना था लाख लगाई तदबीरें हमने ग़म की निजात को बस इक मेरा सर था बस इक तेरा शाना था जपते जपते पी का नाम रात हुई भोर हुई जागे तो पाए बिखरा तस्बीह का दाना था हम क्या बतलाए अपनी क़िस्मत का तक़ाज़ा ‘सुब्रत’ उसको खोना था ‘सुब्रत’ उसको पाना था.... ©Anuj Subrat इक होड़ लगी थी सबको आगे जाना था.....~©अनुज सुब्रत #अनुज_सुब्रत #सुब्रत #आब_ओ_दाना
Anuj Subrat
कितने पाकीज़ा थे हम इब्तिदा-ए-इश्क़ में पुरकार क्यों हो तुम पुरकार क्यों हूँ मैं..... ©Anuj Subrat कितने पाकीज़ा थे हम इब्तिदा-ए-इश्क़ में.....~©अनुज सुब्रत #पाकीज़ा #पुरकार #इब्तिदा_ए_इश्क़ #सुब्रत #अनुज_सुब्रत
Anuj Subrat
Tu llegada la dejaron en tu calle ......., quedaba mucho y donde me quedé ..... Your arrival was left in your street......., there was a lot left and where did i remain....... ©Anuj Subrat Where did I remain......~©Anuj Subrat #Anuj_Subrat #Subrat #अनुज_सुब्रत #सुब्रत #sagarkinare
Anuj Subrat
پھر سے کسی کی آنکھیں اٹھی دیدار کو پھر کوئی ہمارا سکوں او قرار لے گیا۔۔۔۔۔۔ फिर से किसी की आँखें उठी दीदार को फिर कोई हमारा सुकूँ-ओ-क़रार ले गया..... ©Anuj Subrat सुकूँ-ओ-क़रार ले गया......~©अनुज सुब्रत #अनुज_सुब्रत #सुब्रत #sagarkinare
Anuj Subrat
اسنے ایک لڑکی بنائی پھر اسکی ادائیں بنائی دل بنایا پھر مرنے والوں کا قافلہ بنایا ۔۔۔۔۔ उसने इक लड़की बनाई फिर उसकी अदाएं बनाई दिल बनाया फिर मरने वालों का क़ाफ़िला बनाया..... ©Anuj Subrat क़ाफ़िला बनाया.....~©अनुज सुब्रत #क़ाफ़िला #लड़की #दिल #अदाएं #अनुज_सुब्रत #सुब्रत
Anuj Subrat
तमन्ना भी है तुम्हारी और तुमको बता भी नहीं सकते बहुत प्यार करते है तुमसे और तुमको पा भी नहीं सकते यूँ अँधेरी रातों से पूछो क्या क्या है इस दिल में मेरे दिल का असरार हो तुम और तुमको छुपा भी नहीं सकते अश्कों से लिखी वो आख़िरी ख़त भी हमने जला डाली उसमें क्या क्या लिखा था हम तुमको बता भी नहीं सकते मोहब्बत में क्या क्या गुज़री है इस दिल पर सनम इस दिल पे पड़े छालों को हम तुमको दिखा भी नहीं सकते इक तमन्ना थी कि तुमको इन हाथों से हम सजाया करेंगे हाथों में गजरा है ‘सुब्रत’ और तुमको सजा भी नहीं सकते.... ©Anuj Subrat तमन्ना भी है तुम्हारी और तुमको बता भी नहीं सकते.....~©अनुज सुब्रत #तमन्ना #प्यार #पा #असरार #छुपा #दिल #छाला #सजा_भी_नहीं_सकते #अनुज_सुब्रत #सुब्रत
Anuj Subrat
वो है कि हमें देख के शर्मा रहे है हम है कि तन्हाइयों से दिल लगा रहे है उसकी हर इक बात का भरम रख हम जैसे फिर से धोखा खा रहे है उसके संदली बदन का क्या कहना ख़्वाह-मख़ाह वो चाँदनी में नहा रहे है उसके तबस्सुम से है रिज़्क़ मेरा वो उदासियों को घर बना रहे है हम जैसे आशिक़ उसके ‘सुब्रत’ उसकी यादों में मरे जा रहे है..... ©Anuj Subrat हम है कि तन्हाइयों से दिल लगा रहे है.....~©अनुज सुब्रत #शर्मा_रहे_है #तन्हाइयों_से_दिल_लगा_रहे_है #धोखा_खा_रहे_है #मरे_जा_रहे_है #अनुज_सुब्रत #सुब्रत #Anuj_Subrat #HeartBreak
Anuj Subrat
सियाह-रातों का सवेरा क्यों नहीं होता मेरा दिल अब मेरा क्यों नहीं होता नशेमन को मेरे किसने उजाड़ दिया अब कहीं भी मेरा बसेरा क्यों नहीं होता ज़िंदगी की तमन्ना कब थी याद नहीं ज़िंदगी अब तेरा भरोसा क्यों नहीं होता मेरी उड़ान को क़फ़स देने वाले सुन ले तेरे साथ भी मेरे जैसा क्यों नहीं होता आते जाते है लोग मेरे नसीब में ‘सुब्रत’ पर कोई भी शख़्स तुम-सा क्यों नहीं होता.... ©Anuj Subrat सियाह-रातों का सवेरा क्यों नहीं होता.....~©अनुज सुब्रत #अनुज_सुब्रत #सियाह_रात #बसेरा #safarnama
Anuj Subrat
माना कि हमने दौर-ए-माज़ी में तर्क-ए-ताल्लुक़ किया था मगर उससे पहले उस दिन रोज़-ए-विसाल को इक वादा किया था हमने वादा निभाने का मगर क्या अगर हम कल यानी मुस्तक़बिल में फिर से मिले उसी राह पर तो तुम क्या फिर से वादा निभाया करोगे..... ©Anuj Subrat माना कि......~©अनुज सुब्रत #अनुज_सुब्रत #Loneliness
Anuj Subrat
ख़्वाबों की दुनिया ख़्वाबों के वास्ते मुझे ज़िंदा रहने दो किताबों के वास्ते मत उजाड़ो इन बाग़ों को बाग़बान इनको भी रहने दो गुलाबों के वास्ते जिनके दीन-धर्म में मांस हराम है उनको सफ़ में देखा है कबाबों के वास्ते शफ़क़ चेहरा दिलकश आँखें उसकी कोई दर पे खड़ा है जबाबों के वास्ते हम अच्छे है तो एक कोने में है ‘सुब्रत’ दुनिया जी रही है ख़ाना-ख़राबों के वास्ते.... ©Anuj Subrat ख़्वाबों की दुनिया ख़्वाबों के वास्ते......~©अनुज सुब्रत #ख़्वाब #किताब #ज़िंदा #गुलाब #जबाब #ख़ाना_ख़राब #अनुज_सुब्रत #Love