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Ajayy Kumar Mahato
#सवाल वो बिकनी पेहननेवाली... Hot & Sexy कहलाती है, महिला शशक्तिकरण(Women empowerment) की संज्ञा(definition) बन जाती है... पर न जाने क्यों, मेरे गाँव की माँ बहनें साड़ी और घूंघट में.. दबी-कुछली-गँवार-देहाती कहलाती है...??? वो बिकनी पेहननेवाली... Hot & Sexy कहलाती है, महिला शशक्तिकरण(Women empowerment) की संज्ञा(definition) बन जाती है... पर न जाने क्यों, मेरे गाँव की माँ बहनें साड़ी और घूंघट में.. दबी-कुछली-गँवार-देहाती कहलाती है... #Sawal #सवाल #questioninmind #प्रश्न #nojoto #nojotopoetry #nojotosawal #womanempowerment #woman #feminism
वो बिकनी पेहननेवाली... Hot & Sexy कहलाती है, महिला शशक्तिकरण(Women empowerment) की संज्ञा(definition) बन जाती है... पर न जाने क्यों, मेरे गाँव की माँ बहनें साड़ी और घूंघट में.. दबी-कुछली-गँवार-देहाती कहलाती है... #Sawal #सवाल #questioninmind #प्रश्न nojoto #nojotopoetry #nojotosawal #womanempowerment #Woman #Feminism
read moreVijay Kumar उपनाम-"साखी"
सबके मन को वो भाती है मातृभाषा वो कहलाती है सबके दिलों पर छा जाती है जन्म से जो वाणी आती है वो भाषा ही हिंदी कहलाती है
Priya Gour
वो लाखों में एक है, मेरी माँ...💞वो लाखों में नहीं करोडो़ में एक हैं... बहुत देखे दुनिया के रिश्ते और मोहब्बत बस उनकी मोहब्बत सच्ची और नेक है, 💞 दो पीढ़ियों के बीच वैचारिक संतुलन बनाती है माँ, कभी दादी-नानी की तरह रिति-रिवाज समझाती है माँ, कभी दोस्त बन हर बात समझ जाती हैं माँ, बचपन में लोरी गाकर सुनाने से लेकर,उम्र भर साथ निभाती हैं माँ, उनका ख्याल कोई नहीं रखता पर सबका ख्याल रखती है माँ, बच्चे को चलना सिखाने से लेकर,जब सब साथ छोड़ दे तब भी साथ निभाती हैं माँ, सबके लिए अपने सपने, ख़्वाहिशो की भी कुर्बानी देती है माँ, घर हम आए वो नजर ना आए तो पहला सवाल होता हैं सब कहते हैं कहा हैं माँ, हिम्मत मिलती है परेशानी में भी जब मुस्कुराती है मांँ, सुलझी पहेली सी बहुत अच्छी सहेली सी है माँ, हर रिश्ते पर प्यार लुटाती है,इसलिए ममता की मूरत कहलाती है माँ, जिसमें मुझे भगवान नजर आते हैं,सही-गलत की हमें पहचान कराती हैं माँ, दुनियादारी का वह पाठ पढ़ाती हैं,बच्चे की पहली शिक्षक कहलाती है माँ, करते हैं जब कोई गलती डाटकर हमे समझाती हैं माँ, बिन बोले दिल का हाल समझ जाती हैं माँ, न जाने क्यों खुद बनाकर खाना सबसे अंत में खाती है माँ, बच्चों के सपनों के लिए अपना सब कुछ न्योछावर कर जाती है माँ, बच्चों की खुशी में खुश और बच्चों के दुखों में दुखी हो जाती हैं माँ, जिनका प्यार कभी कम नहीं होता हैं सच्ची मोहब्बत तो निभाती हैं माँ, जनाब मेरी मां लाखों में नहीं करोड़ों में एक है... माँ आपकी हो या मेरी क्या फर्क पडता हैं माँ तो माँ होती हैं💞 #LakhonMeinEk #Maa #माँ #LakhoHiNahiKarodoMeinEkHotiHaiMaa #Nojoto #Nojotohindi मेरी माँ...💞वो लाखों में नहीं करोडो़ में एक हैं... बहुत देखे दुनिया के रिश्ते और मोहब्बत बस उनकी मोहब्बत सच्ची और नेक है, 💞 दो पीढ़ियों के बीच वैचारिक संतुलन बनाती है माँ, कभी दादी-नानी की तरह रिति-रिवाज समझाती है माँ, कभी दोस्त बन हर बात समझ जाती हैं माँ, बचपन में लोरी गाकर सुनाने से लेकर,उम्र भर साथ निभाती हैं माँ,
#LakhonMeinEk #maa #माँ #LakhoHiNahiKarodoMeinEkHotiHaiMaa #nojotohindi मेरी माँ...💞वो लाखों में नहीं करोडो़ में एक हैं... बहुत देखे दुनिया के रिश्ते और मोहब्बत बस उनकी मोहब्बत सच्ची और नेक है, 💞 दो पीढ़ियों के बीच वैचारिक संतुलन बनाती है माँ, कभी दादी-नानी की तरह रिति-रिवाज समझाती है माँ, कभी दोस्त बन हर बात समझ जाती हैं माँ, बचपन में लोरी गाकर सुनाने से लेकर,उम्र भर साथ निभाती हैं माँ,
read moreAjay Amitabh Suman
ये कविता एक माँ के प्रति श्रद्धांजलि है । इस कविता में एक माँ के आत्मा की यात्रा स्वर्गलोक से ईह्लोक पे गर्भ धारण , बच्ची , तरुणी , युवती , माँ , सास , दादी के रूप में क्रमिक विकास और फिर देहांत और देहोपरांत तक दिखाई गई है। अंत में कवि माँ की महिमा का गुणगान करते हुए इस कविता को समाप्त करता है। माँ आओ एक किस्सा बतलाऊँ,एक माता की कथा सुनाऊँ, कैसे करुणा क्षीरसागर से, ईह लोक में आती है? धरती पे माँ कहलाती है।
ये कविता एक माँ के प्रति श्रद्धांजलि है । इस कविता में एक माँ के आत्मा की यात्रा स्वर्गलोक से ईह्लोक पे गर्भ धारण , बच्ची , तरुणी , युवती , माँ , सास , दादी के रूप में क्रमिक विकास और फिर देहांत और देहोपरांत तक दिखाई गई है। अंत में कवि माँ की महिमा का गुणगान करते हुए इस कविता को समाप्त करता है। माँ आओ एक किस्सा बतलाऊँ,एक माता की कथा सुनाऊँ, कैसे करुणा क्षीरसागर से, ईह लोक में आती है? धरती पे माँ कहलाती है।
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