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बेचैन मन ना जाने हम कुछ दिनों से क्यों उदास है. ना

बेचैन मन ना जाने हम कुछ दिनों से क्यों उदास है.
ना ख़ुशी है किसी की, 
ना अपना कोई पास है. 
डर है किस बात की हमारा हर पल बनवास है. 
ना राम है हम, 
ना ही सीता का साथ, 
बेचैन है मन, दिल भी उदास है. बेचैन है मन, दिल भी उदास है.
बेचैन मन ना जाने हम कुछ दिनों से क्यों उदास है.
ना ख़ुशी है किसी की, 
ना अपना कोई पास है. 
डर है किस बात की हमारा हर पल बनवास है. 
ना राम है हम, 
ना ही सीता का साथ, 
बेचैन है मन, दिल भी उदास है. बेचैन है मन, दिल भी उदास है.

बेचैन है मन, दिल भी उदास है. #शायरी