मन मे कितने अरमानों को बसाया हुआ है मंजिल पाने की इस दौड़ मे कुछ मुकम्मल तो कुछ जाया हुआ है राहों मे मिली है कभी खुशियां तो कभी गम का सहारा मिला है साथ कितनो का प्यारा मिला है इक चेहरे को बसाया था जो दिल मे बस वो शख्स ना कभी दुबारा मिला है मंजिल पाने की इस दौड़ मे कुछ मुकम्मल तो कुछ जाया हुआ है #अरमान #मुक्कमल #जाया #सफर #yababa #yqdidi #openforcollaboration