तुझे सुनने को अक्सर बेताब रहते है जो दिल तक पहुँचे आहट, उसे तेरी आवाज कहते है जब मालूम हुआ सीप का मोती हो तुम हम तभी से समंदर में डूबे रहते है सीप का मोती हो तुम