White कटु शब्दों क़ी धार किसी तलवार क़ी धार से नहीं होती माना क़ी इसकी धार से बना घाव कभी दिख्ता नहीं और न कभी खून बहता है उन घावो से लेकिन आंसुओ क़ी रिमझिम बेतहाशा हो जाती है ©Parasram Arora कटु शब्दों क़ी धार