Nojoto: Largest Storytelling Platform

पाहाडों के जिसम मे बरफों के चादर सुबह के आंगन मे स

पाहाडों के जिसम मे बरफों के चादर
सुबह के आंगन मे सबनम के बिस्तर
हसि वादिआं मे महकता केसर झिलमिलाति झिलों का सहर
ए काश्मीर तेरि खुबसुरति पर अगर 
  ना होती गोलिओं के निसान    
तु थि स्वर्ग से बेहतर
                        चिन्मय मिश्रा kashmir
पाहाडों के जिसम मे बरफों के चादर
सुबह के आंगन मे सबनम के बिस्तर
हसि वादिआं मे महकता केसर झिलमिलाति झिलों का सहर
ए काश्मीर तेरि खुबसुरति पर अगर 
  ना होती गोलिओं के निसान    
तु थि स्वर्ग से बेहतर
                        चिन्मय मिश्रा kashmir

kashmir