कहानी का एक पहलू ये भी है अनदेखे अनसुनी बातें भी बहुत है यकीन मानिए आप जिनसे नफरत है उनसे मोहब्बत भी है लिखने बैठा हूं उस नादानी पर जाहां सिर्फ एक दर्द का दास्तान है कभी हुआ करता था जाहां एक आशियाना आज उस जगह पर उजड़े हुए बागान भी है लम्हों के तलाश में फिरता एक नादान भी है ©Tafizul Hussain Sambalpur Odisha कहानी का एक पहलू