शिक्षा और शान पर खाल खिंचवाई है पाई पाई पैसा जोड़ फीस भी पटाई है महँगी बहुत किताबे नोटबुक कमाई है क्वालटी के नाम पर संगठित लुटाई है। अविराम लूट