तेरे यौवन के निखार ने क्या गज़ब का शोर मचाया है इक हमीं नहीं हैं तेरे घायलों में देख पूरा शहेर हीं तेरा पगलाया है इक झलक को जद्दोजहद मची है पता नहीं इन फ़जाओं ने तेरे इत्र की ख़ुश्बू जाने कहाँ-कहाँ तक पहुँचाया है..... राone@उल्फ़त-ए-ज़िन्दग़ी ©Raone तेरी खुशबू