Unsplash जय परमेश्वर ईन बनीयोंने.अपने.राक्षसीपापसे धन दुनीयांका;काबुमेकर लीयाहे किईन बनीयोंको? धनका ? लोभबहोतहे किकुल जहांनकाधन हमारेपास होजावेतो फीरहम अपना राजकरें-सोयह बनीये अपने राक्षसीपापसे भुलही भुलमे,बुध्धी,भ्रष्टकरके;सातों आठों वलायतोंके बच्चोंको'गारतकरदेंगे'जबसंसारकी-ओलादको नीहायत दुखदेंगे ओर;पताभी;नहीलगनेदेंगे बलके यह-बनीये अपने राक्षसीपापसे ऐसासुझादेंगे-किजो-आपुसमेही लङकर मरनेलगेंगे..... ( ५५ ) अज तसनीफ साध अनुपदास लीखी- कीताब - [ जगतहीतकारनी ] ( २७४ ) तमांम पढ़कर बंन्दोबस्त करो छावणी ऐरनपुरामें, शिवगंज - ३०७०२७ (राज.) ता १७ अप्रेल संन १९०९ झा बैसाष बुदी १२ सं॥ १९६५ M. No. :- 8905653801 www.jagathitkarnioriginal.org ©JAGAT HITKARNI 274 #camping Kartik Aaryan स्वामी विवेकानंद कोट्स कोट्स फ्रेंडशिप कोट्स गुड मॉर्निंग कोट्स