सोच रहे है वो यूं मुझे रू-ब-रू लिखने को , क्यों न वो खुद को खिज़ा पे हू-ब-हू लिख दे. ©Jajbaat-e-Khwahish(जज्बात) #रूबरू सोच रहे है वो यूं मुझे रूबरू लिखने को , क्यों न वो खुद को खिज़ा पे हू-ब-हू लिख दे. #mybook