बेवफ़ाई का मिरे दामन को दाग ना दे, तासीर-ए-इश्क़ तिरा सुनाने आ रहा हूँ. सफ़र-ए-शौक़ ये ना-तमाम सा है, हमसफ़र मिरा तुझे बनाने आ रहा हूँ. बेअदबी का लहजा सब निगाहों में है, जहां से तिरी शोखी छुपाने आ रहा हूँ. अब इस जान में तिरी और जान ना रही, कातिल मैं तुझे मिरा बनाने आ रहा हूँ. बाराँ-rain परी-रू - angel like जिगर-ए-लख़्त-लख़्त- shredded heart मिज़्गान-ए-यार- eyelashes of beloved तासीर-ए-इश्क़- effect of love सफ़र-ए-शौक़- journey of love #YQbaba #Dimri #gazal #love #yqbhaijan