भारत ने जब 14 सितंबर 1949 के दिन हिंदी को राज्य भाषा के रूप में स्वीकृति प्रदान की थी तो कहीं तत्कालीन मजबूरियों के कारण अंग्रेजी को 10 वर्ष के लिए संपर्क भाषा भी स्वीकार किया गया था हालांकि अल्पकालिक अवधि और उसके लिए किए गए अल्पकालिक उपचार विधि और मानस दोनों में स्थाई हो गए धीरे-धीरे यह माना जाने लगा कि हिंदी बहु संख्याएं क्यों की भाषा होने के कारण राजभाषा है किंतु समस्त भारत की नहीं इसलिए समूचे देश की जनता से राज्य का संवाद कायम करने के लिए अंग्रेजी आ परिहार इसके बाद भी हिंदी को समस्त भारत के संपर्क भाषा के रूप में विकसित करने का यतन महत्वपूर्ण रहा संसद के दोनों सदनों में हिंदी में कामकाज का प्रतिशत बढ़ा है हिंदी पर भाषी राज्यों की संसद ने भी राज्य संसद में अंग्रेजी की वजह हिंदी की चर्चा को प्रधानता दी है ©Ek villain #संयुक्त राष्ट्र ने दी मान्यता हिंदी को #Hindidiwas