जनाब लहजे को ज़रा तमीज फरमाइए । शरमों, हया के साथ हमारे दिल की गली आइए ।। शौक नहीं हमें अनायास सी गरम चीज़ों का । गर फरमाना हीं है तो बेशक बस गरम चाय फरमाइए ।। राone@उल्फ़त-ए-ज़िन्दग़ी mood on