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चलती साँसों सा अज़ाब कुछ भी नहीं है य़ानी मेरे दुख

चलती साँसों सा अज़ाब कुछ भी नहीं है
य़ानी मेरे दुखों का हिसाब कुछ भी नहीं है! 

ख़ुदा की सबसे अच्छी मकलूख है इंसां! 
और इंसान से ख़राब, कुछ भी नहीं है!

©Azeem Khan
  #azeemkhan# Pushpak suryawanshi Shaaz_369 नीर Sircastic Saurabh Kajal jha (kaju)