बेड़ियाँ स्वर्ण चाहतों की बेड़ियाँ, हठीले हठों की बेड़ियाँ, तोड़ना आसान नही है, छिपे स्वार्थो की बेड़ियाँ। झूठी शान की बेड़ियाँ, बनावटी बान की बेड़ियाँ, तोड़ना आसान नही है, दबे अभिमान की बेड़ियाँ। मादक मदपान की बेड़ियाँ, घातक धूम्रपान की बेड़ियाँ, तोड़ना आसान नही है, चुभें निशान की बेड़ियाँ। अदृश्य आहतों की बेड़ियाँ, डरावनी आहटों की बेड़ियाँ, तोड़ना आसान नही है, लिपटी आघातों की बेड़ियाँ। डॉ आनंद दाधीच 'दधीचि' ©Anand Dadhich #बेड़ियाँ #जंजीर #kaviananddadhich #poetananddadhich #hindipoetry