माज़ी- past मख़्फ़ी- secret रिसता- oozing मौजी- cheerful सिखाये जो नहीं हमको, तो वो माज़ी बुरा लगता रखे जब बीच में रिश्ते के वो, मख़्फ़ी बुरा लगता छुड़ा कर साथ ख़ुश रहने लगे, मेरे बुरे दिन में उसी का सोचना अच्छा पड़े तो भी बुरा लगता नहीं लगते जिसे अच्छे, उसे राज़ी नहीं करते करेंगे काम कोई आप उनको ही बुरा लगता जिसे मिलता नहीं है नाम रिसता वो रहे हरदम निभाना जब पड़े रिश्ता बिना मौजी बुरा लगता नहीं मिलता है फ़ल कोई, बहुत देरी हो जाती है पड़ी दरिया में तब तड़पे,वो जो नेकी बुरा लगता ~ Tanya Singh✒ P.S. कोई भी शे'र पसंद आये तो ज़रूर इत्तला करें। #atnya© #Nojoto