सख्त है सैदेव ही जीवन की रीत मिलती नहीं सखी कही ढूंढें भी प्रीत कपट लीला रचकर स्वांग जाती है जीत दोष दर्पण का बताती है चतुर चील बबली भाटी बैसला ©Babli BhatiBaisla Dr Udayver Singh