गहरा समुंदर दिखे उसकी आँखों में, एक अज़ीब ही तेज दिखे उसके चेहरे पर, उसके दिल के वो नरम भाव, जैसे वो अपना सा लगे कोई, पता नहीं क्यों अनजाना सा एहसास खींचे तेरी ओर, जैसे लगे कि कोई जन्मो जन्म का साथी, कभी थोड़ा सा भी दूर जाऊँ उससे चंद लम्हों के लिए, फिर भी दिल मेरा तड़पता है उसके साथ को, पता नहीं गये जन्म में मैंने कौन से पुण्य किए थे, की आशीर्वाद के रूप में मिली मुझे तेरे ही परछाई, सुबह की चाय से लेकर, शाम की थकान तक, रात की सुकून भरी नींद का ख़्याल रखती है वह मेरा, मेरी माँ के बाद किसी ने इतना ख़्याल मेरा रखा है तो, वह है मेरी अपनी जीवन संगिनी। ♥️ Challenge-765 #collabwithकोराकाग़ज़ ♥️ इस पोस्ट को हाईलाइट करना न भूलें :) ♥️ रचना लिखने के बाद इस पोस्ट पर Done काॅमेंट करें। ♥️ अन्य नियम एवं निर्देशों के लिए पिन पोस्ट 📌 पढ़ें।