कल इक दफ़ा फिर मैं हद से गुज़र गया... मुनाफ़े छोड़ सारे पीछे ज़द से गुज़र गया... ताहिर "इकबाल" ©Tahir Iqbal रिग्रेट फॉर सिगरेट #WritingForYou