मैं तेरी मोहब्बत में, ये जिंदगी फटा हुआ सा हिजाब हो गयी... खुद को बचाते बचाते ही नीलाम हो गयी... क्या खोया क्या पाया छोड़ दे ना "राज"... में तेरी मोहब्बत में खुली किताब हो गयीं.... The writer of life