#रत्नाकर कालोनी
पेज-31
यहाँ दोनों पक्षों में वार्तालाप के दौरान राकेश ने बताया मानक का घर परिवार में देखने सुनने जैसा कहीं कुछ रह नहीं गया था...क्यूंकि सब कुछ देख परख लिया गया था..! सुकन्या के पिता स्वयं ज्योतिष विद्या जानते थे... अस्तु वर वधू के सारे गुणधर्म मिलान हो चुका था.. गृहमैत्री अतिसुंदर मिलान.. वहीं वर पक्ष ने भी आश्वश्त किया केवल बहू के अतिरिक्त सोने का एक दाना भी नहीं चाहिये...!
पर्दे के पीछे मानक की बहनों का सब्र टूटा जा रहा था लेकिन मेहमान नवाजी की मर्यादा उन्हें आगे आकर लड़की क #प्रेरक