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अहिंसा छन्द 212  122   2 आपकी दया होगी । राम की क

अहिंसा छन्द
212  122   2

आपकी दया होगी ।
राम की कृपा होगी ।।
पास में हँसी होगी ।
आँख में नमी होगी ।।

दूर से निहारेगा ।
पार वो उतारेगा ।।
भूल तो न जायेगा ।
दौड़ पास आयेगा ।।

कर्म ही तुम्हारा है ।
भाग्य जो सँवारा है ।।
देख लो पुकारा है ।
आज जो सहारा है ।।

महेन्द्र सिंह प्रखर

©MAHENDRA SINGH PRAKHAR अहिंसा छन्द

212  122   2


आपकी दया होगी ।

राम की कृपा होगी ।।
अहिंसा छन्द
212  122   2

आपकी दया होगी ।
राम की कृपा होगी ।।
पास में हँसी होगी ।
आँख में नमी होगी ।।

दूर से निहारेगा ।
पार वो उतारेगा ।।
भूल तो न जायेगा ।
दौड़ पास आयेगा ।।

कर्म ही तुम्हारा है ।
भाग्य जो सँवारा है ।।
देख लो पुकारा है ।
आज जो सहारा है ।।

महेन्द्र सिंह प्रखर

©MAHENDRA SINGH PRAKHAR अहिंसा छन्द

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आपकी दया होगी ।

राम की कृपा होगी ।।

अहिंसा छन्द 212  122   2 आपकी दया होगी । राम की कृपा होगी ।। #कविता