तुम थे जब साथ मेरे, तो मौसम सावन था हर पत्ते पर ठहरी ओस की रहती थी खबर तेरा जाना हुआ, आना हुआ पतझड़ का अंधियारी काली स्याह हुई मेरी हर फ़जर, और कल तक जो महकते गुलशन सा था, आज वो ठूंठ विरान हुआ "मेरे दिल का शजर"!! Challenge-145 #collabwithकोराकाग़ज़ 49 शब्दों में अपनी रचना लिखिए :) (शजर का अर्थ पेड़, वृक्ष, tree) #मेरेदिलकाशजर #कोराकाग़ज़ #yqdidi #yqbaba #YourQuoteAndMine Collaborating with कोरा काग़ज़ ™️