मुहब्बत में संग रहना आ गया, ज़िन्दगी में रंग भरना आ गया, प्रेम बिन बेकार सारी कायनात, मुकद्दर से जंग लड़ना आ गया, इबादत में मन लगा रहने गुंजन, जहालत के ढ़ंग सहना आ गया, --शशि भूषण मिश्र 'गुंजन' चेन्नई तमिलनाडु ©Shashi Bhushan Mishra #संग रहना आ गया#