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White आख़री साँसे लेते हुए एकबझरते हुए व्योवृद्ध

White आख़री  साँसे लेते हुए एकबझरते हुए व्योवृद्ध  ने  पुष्प ने अपने निकट खिलतीं हुई नवजात कली 
की तरफ देख कर कहा 
" आज मेरा रूप लावण्य और गंध सब  खोने की कगार पर पहुंच चुका है 
अब आने वाला कल तुम्हारा होगा भोर की सुनहरी किरणपर भी अधिकार तुम्हारा होगा 
आने वाले नए कल का नया गीत भी तुम्हारे लिए होगा 
तुम्हारी महक से ये पूरा चमन महक उठेगा  और तितलिया  भृमर 
भी तुम्हे देख कर  अनुग्रहित होंगे 
आज  आँख बन्द करने से 
पहले  मेरे ये सन्देश तुम्हारे लिए  मेरा  आशीष होगा

©Parasram Arora एक पुष्प का  कली के लिए  आशीष
White आख़री  साँसे लेते हुए एकबझरते हुए व्योवृद्ध  ने  पुष्प ने अपने निकट खिलतीं हुई नवजात कली 
की तरफ देख कर कहा 
" आज मेरा रूप लावण्य और गंध सब  खोने की कगार पर पहुंच चुका है 
अब आने वाला कल तुम्हारा होगा भोर की सुनहरी किरणपर भी अधिकार तुम्हारा होगा 
आने वाले नए कल का नया गीत भी तुम्हारे लिए होगा 
तुम्हारी महक से ये पूरा चमन महक उठेगा  और तितलिया  भृमर 
भी तुम्हे देख कर  अनुग्रहित होंगे 
आज  आँख बन्द करने से 
पहले  मेरे ये सन्देश तुम्हारे लिए  मेरा  आशीष होगा

©Parasram Arora एक पुष्प का  कली के लिए  आशीष