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Black न समझ सके व्याकुलता मेरी यदि, तो अनुभूत नही

Black न समझ सके व्याकुलता मेरी यदि, 
तो अनुभूत नहीं हुआ मेरा प्रेम कभी.. 
केवल व्यथा वर्णन ही देखा मेरा, 
मगर उसके पीछे स्नेह का था बसेरा.. 
न देख सके मुख पर आयी कांति को, 
तो रहने दो अब इसी भ्रांति को..

©Rakhi Anamika
  #Thinking