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तन्हाई का दर्द यहां, क्या कोई समझ भी पाएगा, भीड़



तन्हाई का दर्द यहां, क्या कोई समझ भी पाएगा,
भीड़ भरी इस दुनिया में, हर एक पत्थर बरसाएगा।

चेहरे पर मुस्कान सजा, क्या मुझसा कोई बहलाएगा,
या आंखों में सपने भरकर, मुझसा पत्थर बन जाएगा।

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©Neel
  मुझसा पत्थर बन जाएगा 🍁
archanasingh1688

Neel

Silver Star
Growing Creator

मुझसा पत्थर बन जाएगा 🍁 #शायरी

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