कोई तुम्हारे दुख मे सहभागी हो. इसिलए तुम अपने दुख का प्रदर्शन कर रहे हो ताकि तुम सहानुभूति बटोर कर सांत्वना पा सको ...... लेकिन ऐसी रुग्ण आकाक्षा करने और सहानुभूति बटोरने के बावजूद तुम वही खड़े हो ये खालीपब और दुखो का घाव.कभी भर नही पायेगा इस जन्म मे कितने जन्मों से तुम अपना घर ढूंढ रहे लेकिन ढूंढ नही पाए हो ©Parasram Arora अपना घर