एक बार की बात है भगवान ने अपने भक्त से पूछा कि मैंने इंसान को बनाया है। भक्त तुमने क्या बनाया है। तो भक्त ने मुस्कुराकर जवाब दिया। है भगवन अपने इंसान को बनाया मैंने इंसान के रिश्तों को बनाया। मां, बाप, बहन, भाई और अनगिनत रिश्तों को बनाया। मैंने एक खास चीज बनाई जो अपने नहीं बनाया। जानते हो भगवन क्या है वो है भगवन तो सुनो आप मैंने दोस्त बनाए। जानते हो वो क्या करता है। मेरे हसने पे वो हस्ता, मेरे रोने, पे रो देता, कुछ रिश्ता ना होते हुए भी वो रिश्ता निभाते। अपने तो भूल जाते लेकिन सच्चा मित्र हमेशा बुरे वक्त में साथ देता। भक्त की बात सुनकर भगवान बोले हे भक्त तू जीता में हरा। तो भक्त ने क्या बोला जानते हो ना मैं जीता ना आप जीते। ना मै हरा ना ना आप हारे। जीता तो मेरा रिश्ता है जिसे मैंने आपसे भी प्यारा बनाया है। भगवन आपको भी मेरे मित्र से लगाव हुआ ना। अगर हुआ तो मेरी सारी खुशियां का कुछ भाग मेरे पास रखना और सारी मेरे मित्र को दे देना। और हमेशा उसको खुश रखना तभी में खुश रहूंगा। तब भगवान प्रसन्न हो गए। और कहा सच्चा मित्र हमेशा खुस रहेगा य मेरा आशिर्वाद है। ✍️ ROUNAK E DASTAN swati soni