वेदना........ आज व्यथित हुआ मन जान कर काम की कोई कद्र नहीं। चापलूसों की इस दुनिया में ईमान का कोई वजूद नहीं। प्रलय और निर्माण शिक्षक के गोद में पलते फिर भी शिक्षक हर रोज तराज़ू में तुलते। डॉक्टर को भगवान कहा,थाली पीट सलाम कहा। फिर अगले पल बेइज्जत कर,अपना स्वाभिमान बढ़ा। सरहद पर सिपाही जान गंवा,देश का सम्मान बढ़ा। हम दुःख जाहिर कर,चलते पुराने ढर्रे आम बता। हर क्षेत्र में, हर काम में, ये स्यापा है कोई काम करे, कोई उसको ले तरे। किस राह चले, किस हाल चले ये सोच बता। जीवन भर फिर क्यूं अफसोस बता। वेदना #collabsorrow #collabpain #collaboration