कारोबार_ए_सफर में सहूलियतों का गुलाम बन गया हूं, मैं यारो !! ऊंची इमारतों जगमगाती रौशनी और शोर_ओ_गुल से आबाद सड़को का आदी बन गया हूं, मैं यारो !! मुझे इल्म नहीं सफर_ए_जिंदगी में कहां तक सफर तय कर गया हूं, मैं यारो !! चंद कागज के टुकड़ों के पीछे बस, भागता ही गया कभी सड़को पर तो कभी इस शहर से उस शहर तो कभी खुद से भी दूर भागा हूं, मैं यारो !! हां_खुद से भी दूर भागा हूं, मैं यारो !! ©Poonam #खुद_से_भी_दूर #कारोबार #सफर_ए_जिंदगी