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मैं और मां :- 💔💔💔💔💔 क्या कहूं कहने को नहीं म

मैं और मां :-
💔💔💔💔💔

क्या कहूं कहने को नहीं माकूल अल्फ़ाज़?
वक़्त, मौसम,हालत से बदले रिश्ते आज।
मैं और मां दो किनारों से अलग-अलग रहे,
सुर बिखरे-बिखरे रहे मिले न कभी साज।।

अर्चना तिवारी तनुजा ✍️✍️

©Archana Tiwari Tanuja
  #MainAurMaa #MyThoughts 
02/09/2023

मैं और मां :-
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क्या कहूं कहने को नहीं माकूल अल्फ़ाज़?
वक़्त, मौसम,हालत से बदले रिश्ते आज।
मैं और मां दो किनारों से अलग-अलग रहे,

#MainAurMaa #MyThoughts 02/09/2023 मैं और मां :- *********** क्या कहूं कहने को नहीं माकूल अल्फ़ाज़? वक़्त, मौसम,हालत से बदले रिश्ते आज। मैं और मां दो किनारों से अलग-अलग रहे, #विचार

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