अब क्या होगा अतिथि सत्कार ,काम काज का हो जाता विस्तार करते -रहते काना-फूसी पसंद ना आती ऐसी बाते हर वक्त करते अपनी मनमानी ,दूसरे के घर में भी अपना हूक्म चलाते एक दों दिन तो झेल भी ले,महिनों -महिनों ठहर जाते घर को बजट को पूरा हिलाते ,अरे क्या बताऊँ कपडें भी अपनी पसंद का लेते ।। काना-फूसी ---इधर की बात उधर करना Challenge-61 #collabwithकोराकाग़ज़ अतिथि सम्मान से जुड़ी नकारात्मक सोच को लिखिए 5 पंक्तियों में :) #अतिथिसम्मान #कोराकाग़ज़ #yqdidi #yqbaba YourQuote Didi Best YQ Hindi Quotes Aरिफ़ Aल्व़ी #YourQuoteAndMine Collaborating with कोरा काग़ज़ ™️