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हर नगर नगर हर गली गली फूलों से मैं सजा दु

हर  नगर  नगर  हर  गली गली  फूलों  से  मैं  सजा  दुँगा 
मेरे राम प्रभु के स्वागत में  मैं  खुद को  आज बिछा दुँगा 

कर लेना बंद कानों को अपने जिसको  कोई दिक्कत हो
आज जय श्री राम के नारों से मैं सारा आकाश गुंजा दुँगा 

हार फूल  की  माल  हाथ मे लेकर खड़े देखो नर नारी हैं 
सब घर  घर  दीप जला कर करते  उत्सव  की  तैयारी है

अरे  होता है  क्या  उत्सव  ये  जग  को  सारे बतला दुँगा 
आज जय श्री राम के नारों से मैं सारा आकाश गुंजा दुँगा

500 वर्षों की कठिन तपस्या देखो रँग आज लाई है 
यह दिन देखने की खातिर जाने कितनों ने जान गंवाई है 

उन दीवाने मतवालों की याद में श्रद्धा के सुमन चढ़ा दुँगा 
आज जय श्री राम के नारों से मैं सारा आकाश गुंजा दुँगा 
😊 

अल्फ़ाज़-ए-नीरज✍🏻

©Niraj Pandey #ramayan
हर  नगर  नगर  हर  गली गली  फूलों  से  मैं  सजा  दुँगा 
मेरे राम प्रभु के स्वागत में  मैं  खुद को  आज बिछा दुँगा 

कर लेना बंद कानों को अपने जिसको  कोई दिक्कत हो
आज जय श्री राम के नारों से मैं सारा आकाश गुंजा दुँगा 

हार फूल  की  माल  हाथ मे लेकर खड़े देखो नर नारी हैं 
सब घर  घर  दीप जला कर करते  उत्सव  की  तैयारी है

अरे  होता है  क्या  उत्सव  ये  जग  को  सारे बतला दुँगा 
आज जय श्री राम के नारों से मैं सारा आकाश गुंजा दुँगा

500 वर्षों की कठिन तपस्या देखो रँग आज लाई है 
यह दिन देखने की खातिर जाने कितनों ने जान गंवाई है 

उन दीवाने मतवालों की याद में श्रद्धा के सुमन चढ़ा दुँगा 
आज जय श्री राम के नारों से मैं सारा आकाश गुंजा दुँगा 
😊 

अल्फ़ाज़-ए-नीरज✍🏻

©Niraj Pandey #ramayan
nirajpandey9590

Niraj Pandey

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